प्रिय ब्लॉगर मित्रों,
प्रणाम |
प्रणाम |
आज ७ अक्तूबर है ... साल भर पहले आज ही के दिन मशहूर निर्देशक कुंदन शाह जी का निधन हुआ था |
कुंदन शाह (जन्म:19 अक्तूबर 1947 - मृत्यु: 7 अक्तूबर 2017) एक भारतीय फिल्म निर्देशक और लेखक थे। वह अपनी कॉमेडी फ़िल्म जाने भी दो यारों (1983) और 1985-86 की टीवी श्रृंखला नुक्कड़ के लिए सबसे ज्यादा जाने जाते हैं। उन्होंने भारतीय फिल्म और टेलिविज़न संस्थान
से निर्देशन सीखा। '‘जाने भी दो यारो’' फिल्म के लिये पहला और एकमात्र
राष्ट्रीय पुरस्कार दिया गया था। उन्होंने ने 2015 में राष्ट्रीय पुरस्कार
लौटा दिया था।
1988 में उन्होंने हास्य धारावाहिक वागले की दुनिया का निर्देशन किया। यह कॉर्टूनिस्ट आर के लक्ष्मण के आम आदमी के किरदार पर आधारित था। उन्होंने 1993 में शाहरुख खान अभिनीत कभी हां कभी न के साथ मुख्यधारा की फ़िल्मों में वापसी की। 2000 में आई उनकी प्रीति जिंटा और सैफ अली खान अभिनीत फिल्म क्या कहना टिकट खिड़की पर सफल रही थी। इसके बाद बॉबी देओल और करिश्मा कपूर अभिनीत हम तो मोहब्बत करेगा (2000) और रेखा, प्रीति और महिमा चौधरी अभिनीत दिल है तुम्हारा (2002) सफल नहीं रही।
ब्लॉग बुलेटिन टीम और हिन्दी ब्लॉग जगत की ओर से आज हम सब उनको नमन करते हैं |
सादर आपका
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अब आज्ञा दीजिये ...
जय हिन्द !!!
6 टिप्पणियाँ:
नमन कुन्दन शाह जी को। सुन्दर बुलेटिन प्रस्तुति।
उम्दा सजा ब्लॉग मंच |
मेरी रचना शामिल करने के लिए धन्यवाद |
बहुत अच्छी बुलेटिन प्रस्तुति
बहुत सुन्दर सूत्रों से सजा आज का बुलेटिन ! मेरी रचना 'आमंत्रण' को सम्मिलित करने के लिए आपका हृदय से बहुत बहुत धन्यवाद एवं आभार शिवम् जी !
आप सब का बहुत बहुत आभार |
कुंदन शाह जी को नमन। मेरी रचना शामिल करने के लिए बहुत बहुत धन्यवाद, शिवम जी।
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