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शनिवार, 18 मई 2019

मजबूत इरादों वाली अरुणा शानबाग जी को ब्लॉग बुलेटिन का सलाम

प्रिय ब्लॉगर मित्रों,
प्रणाम |

अरुणा शानबाग ... हम मे से बहुतों ने 2015 में पहली बार इस नाम और इस नाम से जुड़ी शख़्सियत के बारे मे जाना था | पर अफ़सोस कि इस जान पहचान के पीछे कोई भी सुखद कारण नहीं था | 

2015 की खबरों की सुर्खियों मे जगह बनाने वाली अरुणा शानबाग का 18 मई 2015 को निधन हो गया था ... अपने निधन से पहले  42 वर्षों तक कोमा में रहने के बाद अरुणा को अंतत: मौत नसीब हुई| अरुणा का निधन 18 मई 2015 को सुबह लगभग 10 बजे केईएम अस्पताल में हुआ,  वह 67 वर्ष की थीं| वह 42 वर्षों तक इसी अस्पताल में जिंदगी से जूझ रहीं थीं| निधन से कुछ दिनों पूर्व उन्हें निमोनिया हो गया था और फेफड़े में भी संक्रमण था और वह जीवनरक्षक प्रणाली पर थीं |


अरुणा शानबाग केईएम अस्पताल मुंबई में काम करने वाली एक नर्स थीं ... जिनके साथ 27 नवंबर 1973 में अस्पताल के ही एक वार्ड ब्वॉय ने यौन अपराध किया था| उस वार्ड ब्वॉय ने यौन शोषण के दौरान अरुणा के गले में एक जंजीर बांध दी थी ... उसी जंजीर के दबाव से अरुणा उस घटना के बाद कोमा में चली गयीं और फिर कभी सामान्य नहीं हो सकीं| उस घटना के बाद पिछले 42 वर्षों से अरुणा शानबाग कोमा में थीं ... अरुणा की स्थिति को देखते हुए उनके लिए इच्छा मृत्यु की मांग करते हुए एक याचिका भी दायर की गयी थी, लेकिन कोर्ट ने इच्छामृत्यु की मांग को ठुकरा दिया था| अरुणा की जिंदगी के साथ खिलवाड़ करने वाले दरिंदे का नाम सोहनलाल था, जिसे कोर्ट ने सजा तो दी, लेकिन वह अरुणा के साथ किये गये अपराध के मुकाबले काफी कम थी| 
 
 
मजबूत इरादों वाली अरुणा शानबाग जी को ब्लॉग बुलेटिन टीम और हिन्दी ब्लॉग जगत का सलाम |

सादर आपका
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छाया

सल्फास एक्सपोजर

वैचारिक मतभेद और चरित्र हनन

लघुकथा : अंगदान

ग़र चंद तवारीखी तहरीर बदल दोगे - अदम गोंडवी

सफ़र की धूल

अभिव्यक्ति का अधिकार

गले का पट्टा (हास्य गीत)

परीक्षा में कम अंक पाने वाले बच्चों के नाम एक खत

40.....गधा ही बस अपना सा लगता है और बहुत याद आता है

फिल्म निर्माण संस्था #बॉम्बे #टाकीज़ में गीतकार #नरेंद्र #शर्मा,

~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~
अब आज्ञा दीजिए ... 

जय हिन्द !!!

6 टिप्पणियाँ:

yashoda Agrawal ने कहा…

शुभ संध्या भाई शिवम जी..
बेहतरीन बुलेटिन...
आभार...
सादर...

Jyoti Dehliwal ने कहा…

मेरी रचना को 'ब्लॉग बुलेटिन' में शामिल करने के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद, शिवम भाई।
अरुणा शानबाग जी पर मेरी पोस्ट https://www.jyotidehliwal.com/2015/05/Nobal-pursakaron-se.html जरूर पढ़िएगा।

Meena sharma ने कहा…

अच्छी रचनाएँ। बेहतरीन बुलेटिन।

Malti Mishra ने कहा…

सुंदर और सार्थक संकलन👌🏼👌🏼👌🏼👌🏼

मन की वीणा ने कहा…

ब्लॉग बुलेटिन का ये अंक बहुत शानदार रहा। सभी सामग्री अच्छी खोज का परिणाम। सुंदर संयोजन सुंदर लिंक मेरी रचना को शामिल करने के लिए तहे दिल से शुक्रिया।
सभी रचनाकारों को बधाई

शिवम् मिश्रा ने कहा…

आप सब का बहुत बहुत आभार|

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