ब्लॉग बुलेटिन के सभी मित्रों को हार्दिक नमस्कार।
संयुक्त राष्ट्र संघ ने वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष (International Year of Water Cooperation) के रूप में घोषित किया है। दिसम्बर 2010, में संयुक्त राष्ट्र संघ ने वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष के रूप में मनाने का निर्णय लिया था। संयुक्त राष्ट्र संघ ने सबके लिए जल, जल का सार्थक उपयोग तथा जल के संरक्षण के लिए ही वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष के रूप में मनाने का निश्चय किया है। हर साल लाखों टन जल की बर्बादी होती है। वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष के रूप मनाने का निर्णय इस लिए भी लिया गया है क्योंकि विश्व के सभी देश जल के संरक्षण और उसके रख-रखाव के बारे में ठोस कदम उठा सके।
जल से सम्बंधित विश्व भर के रोचक तथ्य :-
1-) एक व्यक्ति अपने पूरे जीवनकाल में लगभग 60,000 लीटर पानी पी जाता है।
2-) हमारे देश के सारे अखबारों को एक दिन की छपाई के लिए लगभग 2,000 लाख गैलन पानी की ज़रूरत होती है।
3-) एक किलोवाट जल विध्दुत के लिए 400 गैलन पानी की आवश्यकता होती है।
4-) दूषित पानी पीने से दुनिया भर में हर साल लगभग 22 लाख लोग मरते हैं।
5-) एक व्यक्ति बिना भोजन किये 2 महीने जीवित रह सकता है लेकिन पानी पिये बगैर मुश्किल से एक हफ्ता ही जीवित रह सकता है।
6-) दुनिया भर में प्रति 10 व्यक्तियों में से 2 व्यक्तियों को पीने का शुद्ध पानी भी नहीं मिलता है।
7-) हमारी पृथ्वी का लगभग 71 % हिस्सा जल से भरा है, जो कुल एक अरब 40 घन किलो लीटर पानी के रूप में है। लेकिन इसमें से 97.3 % पानी समुद्र में है, बाकि शेष 2.7 % पानी नदियों, तालाबों और कुँओं में है।
जल है तो जीवन है!!
अब चलते है बुलेटिन की और ....
दृष्टिक्षेत्रे
कुम्भा महल और विजय स्तंभ : चितौडगढ़
क्यों गिर रहा है रुपया? (Why Rupee Down)
फादर्स डे (लघुकथा )
जन जुड़े, तब विनाश रुके
गूगल का पहला चेक
अलादीन का चिराग
ख़ुशी और सुख
गुजारिश,
मेरे देश के सैनिक तुम्हें सलाम .........!!
कल फिर मिलेंगे। शुभ रात्रि।
संयुक्त राष्ट्र संघ ने वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष (International Year of Water Cooperation) के रूप में घोषित किया है। दिसम्बर 2010, में संयुक्त राष्ट्र संघ ने वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष के रूप में मनाने का निर्णय लिया था। संयुक्त राष्ट्र संघ ने सबके लिए जल, जल का सार्थक उपयोग तथा जल के संरक्षण के लिए ही वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष के रूप में मनाने का निश्चय किया है। हर साल लाखों टन जल की बर्बादी होती है। वर्ष 2013 को अंतर्राष्ट्रीय जल सहयोग वर्ष के रूप मनाने का निर्णय इस लिए भी लिया गया है क्योंकि विश्व के सभी देश जल के संरक्षण और उसके रख-रखाव के बारे में ठोस कदम उठा सके।
जल से सम्बंधित विश्व भर के रोचक तथ्य :-
1-) एक व्यक्ति अपने पूरे जीवनकाल में लगभग 60,000 लीटर पानी पी जाता है।
2-) हमारे देश के सारे अखबारों को एक दिन की छपाई के लिए लगभग 2,000 लाख गैलन पानी की ज़रूरत होती है।
3-) एक किलोवाट जल विध्दुत के लिए 400 गैलन पानी की आवश्यकता होती है।
4-) दूषित पानी पीने से दुनिया भर में हर साल लगभग 22 लाख लोग मरते हैं।
5-) एक व्यक्ति बिना भोजन किये 2 महीने जीवित रह सकता है लेकिन पानी पिये बगैर मुश्किल से एक हफ्ता ही जीवित रह सकता है।
6-) दुनिया भर में प्रति 10 व्यक्तियों में से 2 व्यक्तियों को पीने का शुद्ध पानी भी नहीं मिलता है।
7-) हमारी पृथ्वी का लगभग 71 % हिस्सा जल से भरा है, जो कुल एक अरब 40 घन किलो लीटर पानी के रूप में है। लेकिन इसमें से 97.3 % पानी समुद्र में है, बाकि शेष 2.7 % पानी नदियों, तालाबों और कुँओं में है।
अब चलते है बुलेटिन की और ....
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कुम्भा महल और विजय स्तंभ : चितौडगढ़
क्यों गिर रहा है रुपया? (Why Rupee Down)
फादर्स डे (लघुकथा )
जन जुड़े, तब विनाश रुके
गूगल का पहला चेक
अलादीन का चिराग
ख़ुशी और सुख
गुजारिश,
मेरे देश के सैनिक तुम्हें सलाम .........!!
कल फिर मिलेंगे। शुभ रात्रि।
achchhe links...
जवाब देंहटाएंमेरे पोस्ट... मेरे देश के सैनिक तुझे सलाम !! को ब्लॉग बुलेटिन में शामिल करने के लिए बहुत बहुत धन्यवाद !!
जवाब देंहटाएंबहुत उम्दा लाजबाब प्रस्तुति,,,मेरी रचना शामिल के लिए आभार
जवाब देंहटाएं<
शानदार उम्दा प्रस्तुती
जवाब देंहटाएंमाँ के सपूतों तुझे सलाम...
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर प्रस्तुति !
ज्ञानपरक और सुन्दर पठनीय सूत्र..आभार..
जवाब देंहटाएंबहुत ही सुंदर लिंक्स दिये है आपने...........
जवाब देंहटाएंअच्छे सूत्र हैं ...
जवाब देंहटाएंबहुत सुंदर लिंक्स, आभार.
जवाब देंहटाएंरामराम.
jal hi jivan hai pasand aaya
जवाब देंहटाएंआप सबका हार्दिक धन्यवाद।
जवाब देंहटाएंहर्षवर्धन जी एक गुल्लक ऐसा भी से जुड़ने के लिए धन्यवाद्..
जवाब देंहटाएंबहुत ही सुंदर लिंक्स ..मुझे स्थान देने के लिए आभार.हर्शवर्धन जी
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